Wednesday, February 6, 2019

Kumbh mela darshan 2019 at Prayagraj uttar Pradesh world record gatherin...

Kumbh mela darshan 2019 at Prayagraj uttar Pradesh world record gatherin...
 

Sunday, February 3, 2019

Dhongi Baba part 4 apko yakin nahi hoga ki hamare beech sadhu ke bhes me...

Thursday, August 9, 2018

Kanvad Yatra of Lord Shiva to Haridwar You

हर की पौड़ी हरिद्वार में भोले बाबा के भक्तों की अपार भीड़, हरिद्वार में चारों तरफ कांवरियों की भीड़ ही भीड़ दिख रही थी । आप भी उस भीड़ का आनंद लें, मां गंगा के दर्शन करें, भोले बाबा की नगरी हरिद्वार के दर्शन करें और अपना जीवन धन्य बनाएं।

Wednesday, June 6, 2018

व्यक्ति की पहचान उसके काम से होती है



एक राजा को चित्रकारी का बहुत शौक था। वह अपने राज्य के योग्य चित्रकारों को समय-समय पर सम्मानित भी करता रहता था। एक बार राजा ने चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन रखा जिसमें दूर-दूर से मशहूर चित्रकारों को आमंत्रित किया गया। अनेंक चित्रकार निर्धारित स्थल पर पहुंचने लगे।

स्वास्तिक से सकारात्मक ऊर्जा




मंगल प्रसंगों के अवसर पर पूजा स्थान तथा दरवाजे की चौखट और प्रमुख दरवाजे के आसपास स्वस्तिक चिह्न बनाने की परंपरा है। वे स्वस्तिक कतई परिणाम नहीं देते, जिनका संबंध प्लास्टिक, लोहा, स्टील या लकड़ी से हो।

विद्या, संगीत और बुद्धि की देवी माँ सरस्वती


माँ सरस्वती विद्या, संगीत और बुद्धि की देवी मानी गई है। देवीपुराण में सरस्वती को सावित्री, गायत्री, सती, लक्ष्मी और अंबिका नाम से संबोधित किया गया है। प्राचीन ग्रंथों में इन्हें वाग्देवी, वाणी, शारदा, वीणापाणि, विद्याधरी,

गंगा, यमुना, सरस्वती का अनूठा संगम


यह सबको विदित ही है कि गंगा और यमुना दोनों हिमालय से निकली हैं, लेकिन गंगा ठहरीं कुछ गोरी और यमुना का रंग काला, गंगा को अपनी शुभ्रता का अभिमान हुआ और वह ऊपर ही ऊपर चलीं जबकि यमुना अपने श्यामल वर्ण के कारण गंगा से कुछ दूर-दूर।

गंगाजल की महत्ता अपार





भगवान श्रीकृष्ण ने श्रीमद्भागवत में कहा है कि स्रोत सामास्मि जाह्नवी अर्थात जल स्रोतों में मैं ही जाह्नवी (गंगा) हूं। इस प्रकार गंगा श्रीहरि का ही एक स्वरूप है। गंगाजी की महत्ता प्रकट करते हुए स्कंदपुराण में कहा गया है कि

जल संकट को लेकर धर्मग्रंथ पहले ही जारी कर चुके हैं चेतावनी



प्रकृति की अनमोल धरोहर और जीवन के आधार जल की बर्बादी को रोकने की मुहिम आज की नही बल्कि हजारों वर्ष पुरानी है। फर्क सिर्फ इतना है कि बढ़ती जनसंख्या के बीच ऐश और आराम के संसाधन जुटाने में

गुरु महिमा से बढ़कर कुछ नहीं



‘गुरु’ शब्द, केवल दो अक्षरों से बना है।  उसमें ‘गु’ का अर्थ ‘अंधकार’ यानि की अज्ञान व ‘रु’ का अर्थ ‘प्रकाश’ यानि की ज्ञान से है। अर्थात अज्ञान रूपी अंधकार को नष्ट करने वाला प्रकाश ही गुरु है, इसमें कोई संशय नहीं।

नशा समाज के लिए अभिशाप है



वर्तमान समय में वातावरण में व्याप्त प्रदूषण, सामाजिक अवमूल्यन व सामान्यतया इच्छापूर्ति में व्यवधान आने की वजह से आज का युवावर्ग कुण्ठाग्रस्त होता जा रहा है, आत्मबल में कमी होने की

Friday, October 22, 2010

सभी धर्माचार्यों का लाई डिटेक्टर टेस्ट ही क्यों?


आज घोर कलियुग का वातावरण है| चारो तरफ अनीति, अन्याय, अधर्म फैला हुआ है| चाहे वो सामाजिक क्षेत्र हो, राजनीतिक क्षेत्र हो या धर्म क्षेत्र हो| हर जगह अधर्म का बोलबाला है| इन सबको

एक ही जीवन पर्याप्त है अनेकों जीवन सवांरने के लिए ...



अगर आप सभी जन्म-मरण के चक्र से मुक्त होकर हजारों हजार वर्षों तक सूक्ष्म में विचरण करना चाहते हैं या जब, जहां, जिस योनि में जन्म लेकर अपने तरीके से जीवन जीना चाहते हैं, तो यह सब कुछ सम्भव है। इस सबके लिए यह वर्तमान जीवन ही पर्याप्त हैं। पर कैसे ? आगे पढ़ें...

अन्य ग्रहों में भी है जीवन



पृथ्वी के मनुष्यों की तरह, बाहरी ग्रहों के प्राणियों के भी हैं दो हाँथ, दो पाँव और एक सिर वैज्ञानिकों ने संभावना व्यक्त की है कि बार-बार धरती पर दस्तक देकर एक रहस्य छोड़ जाने वाले बाहरी ग्रह

इस युग का सत्य


हर युग में असुरत्व के नाश एवं धर्म की स्थापना हेतु युग परिवर्तन के लिए आदिकाल से ही युगपुरुषों का अवतरण होता रहा है| और ऐसा ही परिवर्तन इस कलियुग में भी सुनिश्चित है|क्योंकि  वह सभी आसुरी परिस्थितियां आज अपनी चरम सीमा पर पहुँच चुकी हैं| इस

Thursday, September 9, 2010

प्रागैतिहासिक काल का मानव शाकाहारी था


तीस हजार साल पहले का मानव आटा गूंथता था रोटी बेलता था और पत्थर के तवे पर सेंक कर रोटी तैयार करता था जो उसके मुख्य भोजन में शामिल था। इससे पश्चिमी इतिहासकारों की यह धारणा गलत साबित होती

Sunday, July 25, 2010

189 महापुरुषों का मनाया जाता है निर्वाण दिवस




शहीदों हम शर्मिन्दा हैं, तुम्हें भुलाकर जिन्दा हैं।। हिन्दुस्तान सोशलिस्ट रिपब्लिकन आर्मी व लक्ष्मीबाई ब्रिगेड के बैनर तले साल भर में बासठ महापुरुषों का जन्मदिन और 189 महापुरषों का